Govt Employees DA Hike News: सरकार ने रक्षाबंधन से पहले देशभर के लाखों केंद्रीय कर्मचारियों और पेंशनधारकों को बड़ी राहत दी है। 27 जुलाई को जारी अधिसूचना के अनुसार अब कर्मचारियों के महंगाई भत्ते (DA) में 4% की भारी बढ़ोतरी की गई है। यह बढ़ोतरी जुलाई 2025 से प्रभावी मानी जाएगी, जिससे वेतन में सीधा असर होगा। रक्षाबंधन के खास मौके पर आए इस फैसले से कर्मचारी वर्ग में खुशी की लहर दौड़ गई है। केंद्र सरकार का यह कदम मुद्रास्फीति और जीवन यापन की बढ़ती लागत को संतुलित करने के मकसद से उठाया गया है। इसका सीधा फायदा करीब 50 लाख कर्मचारियों और 65 लाख पेंशनर्स को मिलेगा, जो लंबे समय से इस बढ़ोतरी का इंतजार कर रहे थे।
कितना बढ़ा डीए
नई अधिसूचना के मुताबिक अब केंद्रीय कर्मचारियों का डीए 46% से बढ़ाकर 50% कर दिया गया है। पहले यह 42% था, जिसे मार्च 2025 में बढ़ाकर 46% किया गया था। अब रक्षाबंधन से ठीक पहले इसमें फिर से 4% की वृद्धि करते हुए इसे 50% कर दिया गया है। यह बढ़ोतरी कर्मचारियों के मूल वेतन पर लागू होगी, जिससे कुल सैलरी में अच्छा इजाफा होगा। उदाहरण के लिए, अगर किसी कर्मचारी का बेसिक वेतन ₹25,000 है तो उसे अब ₹1,000 अतिरिक्त DA मिलेगा। इस फैसले के तहत ना सिर्फ मौजूदा वेतन बढ़ेगा बल्कि आने वाले डीए एरियर और ग्रेच्युटी पर भी इसका असर पड़ेगा।
कब से मिलेगा लाभ
सरकार ने साफ किया है कि डीए में बढ़ोतरी का लाभ 1 जुलाई 2025 से प्रभावी होगा और इसे सितंबर की सैलरी में शामिल कर दिया जाएगा। साथ ही जुलाई और अगस्त के दो महीने का एरियर भी कर्मचारियों को अलग से दिया जाएगा। इसका मतलब है कि अगस्त के अंत तक सभी कर्मचारियों को बढ़ा हुआ वेतन और बकाया एरियर दोनों मिल जाएंगे। रक्षाबंधन से पहले आ रहे इस धन लाभ को लेकर कर्मचारी काफी उत्साहित हैं। सूत्रों के मुताबिक, वित्त मंत्रालय इस फैसले के लिए पहले ही बजटीय प्रावधान कर चुका था और अब इसे सार्वजनिक कर दिया गया है ताकि त्योहारी खर्चों में कर्मचारियों को राहत मिल सके।
कितने लोगों को लाभ
यह डीए बढ़ोतरी केंद्र सरकार के लगभग 50 लाख कर्मचारियों और 65 लाख पेंशनर्स पर लागू होगी। साथ ही कुछ राज्य सरकारें भी केंद्र के फैसले का अनुसरण करती हैं, जिससे यह संख्या 1.5 करोड़ से अधिक पहुंच सकती है। रेलवे, डाक विभाग, रक्षा सेवा, राजस्व सेवा और मंत्रालयों में कार्यरत कर्मचारी इस लाभ के सीधे हकदार होंगे। जिन पेंशनभोगियों को भी नियमित पेंशन मिल रही है, उन्हें भी इसका सीधा फायदा मिलेगा। कई राज्य पहले ही अपने स्तर पर डीए बढ़ा चुके हैं लेकिन अब केंद्र सरकार की घोषणा से उन पर भी दबाव बढ़ेगा कि वे इस फैसले को जल्द से जल्द लागू करें।
पेंशनधारकों को फायदा
पेंशनधारकों के लिए यह खबर और भी राहत भरी है क्योंकि उनकी मासिक आय का बड़ा हिस्सा डीआर (Dearness Relief) पर निर्भर करता है। केंद्र सरकार ने स्पष्ट किया है कि पेंशनर्स को भी डीए की तरह डीआर में समान रूप से 4% की वृद्धि दी जाएगी। इससे उनके मासिक पेंशन में सीधा इजाफा होगा। बढ़े हुए डीआर के साथ जुलाई और अगस्त के बकाया भुगतान को भी सितंबर तक ट्रांसफर कर दिया जाएगा। रिटायर्ड कर्मचारियों की यूनियनों ने सरकार के इस फैसले का स्वागत किया है और इसे त्योहारी सीजन में बड़ी राहत बताया है। इससे वरिष्ठ नागरिकों के खर्चों में थोड़ी राहत मिलेगी और जीवन यापन में आसानी होगी।
आर्थिक असर क्या होगा
सरकार के इस फैसले से जहां कर्मचारियों और पेंशनर्स को सीधा लाभ मिलेगा, वहीं इससे सरकारी खजाने पर भी बड़ा भार आएगा। अनुमान के अनुसार, इस 4% डीए बढ़ोतरी से केंद्र सरकार पर सालाना ₹12,000 करोड़ से अधिक का अतिरिक्त बोझ पड़ेगा। हालांकि वित्त मंत्रालय का कहना है कि इस बढ़ोतरी के लिए आवश्यक बजट पहले ही मंजूर कर लिया गया था और इससे राजकोषीय घाटे पर कोई नकारात्मक असर नहीं पड़ेगा। सरकार का मानना है कि कर्मचारियों की संतुष्टि से देश की कार्यक्षमता बढ़ेगी और बाजार में मांग को भी बढ़ावा मिलेगा, जिससे अर्थव्यवस्था में नई गति आएगी।
किसे नहीं मिलेगा लाभ
हालांकि यह डीए बढ़ोतरी एक बड़ी राहत है, लेकिन कुछ वर्ग ऐसे भी हैं जो इससे सीधे लाभान्वित नहीं होंगे। संविदा कर्मी, अंशकालिक कर्मचारी, और निजी क्षेत्र में कार्यरत लोगों को इस वृद्धि का कोई लाभ नहीं मिलेगा। केवल केंद्र सरकार के स्थायी कर्मचारी और नियमित पेंशनर्स ही इस दायरे में आते हैं। इसके अलावा राज्य सरकारों के कर्मचारियों को यह लाभ तभी मिलेगा जब उनकी सरकारें अलग से घोषणा करें। निजी कंपनियों के कर्मचारियों को भी महंगाई भत्ते जैसी किसी सुविधा का लाभ तभी मिलता है जब कंपनी नीति अनुसार ऐसा निर्णय ले। इसलिए यह लाभ सीमित वर्ग के लिए ही लागू होगा।
यूनियनों की प्रतिक्रिया
कर्मचारियों की प्रमुख यूनियनों ने सरकार के इस फैसले का स्वागत किया है लेकिन साथ ही यह भी मांग की है कि भविष्य में डीए वृद्धि की प्रक्रिया को और पारदर्शी और नियमित बनाया जाए। यूनियनों का कहना है कि सरकार को हर छह महीने में डीए संशोधन को समय पर घोषित करना चाहिए और एरियर के भुगतान में देरी नहीं होनी चाहिए। इसके अलावा कुछ संगठनों ने डीए को मूल वेतन में मर्ज करने की मांग भी दोहराई है। हालांकि इस समय अधिकतर यूनियनें इस फैसले से संतुष्ट नजर आ रही हैं और इसे रक्षाबंधन से पहले कर्मचारियों के लिए अच्छा उपहार बता रही हैं।
आगे क्या उम्मीद करें
अब जबकि डीए 50% तक पहुंच गया है, ऐसे में यह कयास लगाए जा रहे हैं कि सरकार जल्द ही 7वें वेतन आयोग के तहत नए भत्तों की समीक्षा कर सकती है। नियमों के अनुसार जब डीए 50% पार कर जाता है, तब कुछ भत्तों जैसे HRA और TA में स्वतः संशोधन किया जाता है। इसके अलावा आने वाले महीनों में केंद्रीय कर्मचारियों को बोनस और LTC कैश वाउचर स्कीम जैसे लाभों की भी घोषणा की जा सकती है। त्योहारी सीजन को देखते हुए सरकार कोशिश कर रही है कि कर्मचारियों को अधिक से अधिक लाभ दिया जाए ताकि उपभोग में तेजी आए और आर्थिक गतिविधियों को मजबूती मिले।
अस्वीकृति
यह लेख सरकार द्वारा जारी सार्वजनिक सूचनाओं और मीडिया रिपोर्ट्स पर आधारित है जिसका उद्देश्य केवल पाठकों को मौजूदा डीए बढ़ोतरी की जानकारी देना है। इसमें दी गई जानकारी को किसी आधिकारिक दस्तावेज़ या कानूनी सलाह के रूप में न लें। सरकारी निर्णयों में समयानुसार बदलाव संभव हैं और अंतिम पुष्टि हेतु संबंधित विभाग की वेबसाइट या अधिसूचना को देखें। पाठकों से निवेदन है कि किसी भी प्रकार का वित्तीय या कर निर्णय लेने से पहले विशेषज्ञ या अधिकृत सरकारी स्रोत से परामर्श अवश्य लें। लेखक या प्रकाशक किसी भी क्षति या भ्रम के लिए उत्तरदायी नहीं होगा।
Ibrahim Alam